भारत को सोश्ल मीडिया का हब कह दे तो इसमें कोई दो राय नहीं होगी, क्योंकि सारे एप्लिकेशन का मुख्य टार्गेट भारत की जनता ही होती है। हो भी क्यों न भारत की जनसंख्या है भी इतनी। एक बार किसी को एक एप पसंद आ गया तो उस एप के मालिक को करोड़ो का बिजनेस करवा देता है।
भारत में ऐसा ही एक पसंदीदा और पॉपुलर एप snapchat है जिसको भारत में बहुत ही प्यार मिला है। हालांकि अभी snapchat अपने एक फीचर की वजह से सुर्खियों में आया हुआ है।
वैसे तो बात यह 2013 से चली आ रही है लेकिन अभी ही snapchat ने ओफिशियली अपने फिल्टर स्पीड फिल्टर को हटाने का ऐलान किया है। स्पीड फिल्टर एक ऐसा फिल्टर है जिसके जरिये यूजर कितनी तेज ड्राइविंग कर रहा है उसको कैप्चर कर सकता है और अपने दोस्तों के साथ शेयर कर सकता है।
हालांकि यह फिल्टर जब से लॉंच हुआ था तब से ही विवादों ने घेरना शुरू कर दिया था लेकिन Snapchat अपने इस फिल्टर को कैसे भी करके बचा दिया करता था। यहाँ तक की सारी सुरक्षा चिंताओं को हटाकर इस फिल्टर को अपने एप में डाले रखा। कई रिपोर्ट्स ने दावा भी किया था कि यह फिल्टर गलत ड्राइविंग को बढ़ावा दे रहा है, लेकिन उन दावों को भी Snapchat कंपनी ने दरकिनार करती गई।
लेकिन इस फिल्टर से जिन परिवार वालों ने अपनों को खोया या अपनों को चोटिल होते देखा था उन्होने Snapchat पर मुकदमे दायर करने शुरू कर दिये जिसके बाद कोर्ट में कमोनी को जवाब देना जरूरी हो गया।
एक रिपोर्ट के अनुसार साल 2015 में स्पीड फिल्टर का यूज करते वक़्त जार्जिया में एक इंसान को परमानेंट ब्रेन डैमेज हो गया और इसी साल फिलाडेल्फिया में इस फिल्टर को कार ड्राइविंग करते हुये यूज किया तो उस कार का एक्सिडेंट हो गया जिसमें तीन युवतियों की जान चली गई।
2016 में फ्लॉरिडा में 5 लोग का एक्सिडेंट हो गया, 2017 में 3 लोगों की कार एक्सिडेंट में मौत हो गई जिनकी कार की स्पीड 123 मील प्रति घंटा थी।
इन रिपोर्ट्स और उसके ऊपर हुये मुकदमे की वजह से साल 2021 में snapchat ने उस फिल्टर को हटाने का आदेश दे दिया है। snapchat के अनुसार मई महीने में उसके मंथली एक्टिव यूजर्स की संख्या 500 मिलियन थी जो नॉर्थ अमेरिका और यूरोप के बाहर की कम्यूनिटी के मुक़ाबले 40 फीसदी ज्यादा है। भारत में पिछेली 5 तिमाही में snapchat के एनुअल एक्टिव यूजर्स की संख्या में 100 फीसदी वृद्धि दर्ज की गई है।